Raju Srivastav Death Anniversary: याद आते रहेंगे राजू श्रीवास्तव, अपने कॉमेडी के अंदाज़ से बसे हैं लोगों के दिल में

  • प्रदीप सरदाना 

वरिष्ठ पत्रकार एवं फिल्म समीक्षक 

राजू श्रीवास्तव (Raju Srivastav) देश के एक ऐसे हास्य कलाकार रहे जिन्होंने अपने अलग अंदाज़ की कॉमेडी से देश दुनिया को खूब हँसाया। अपनी इस हास्य यात्रा में देखते देखते वह कब स्टार बन गए यह पता ही नहीं चला। राजू (Raju Srivastav) की कॉमेडी का लोग खूब आनंद ले ही रहे थे कि अचानक 21 सितंबर 2022 को वह इस दुनिया को अलविदा कह गए। जिससे हंसीं तो थमी ही साथ ही उनका परिवार, उनके दोस्त और उनके प्रशंसक सभी हक्के बक्के रह गए।

बरकरार है राजू श्रीवास्तव के प्रति लोगों का प्रेम

लेकिन पिछले दो बरसों से यह देख रहा हूँ कि राजू (Raju Srivastav) के प्रति लोगों का प्रेम बरकरार है। राजू (Raju Srivastav) के निधन के समय दिल्ली में आयोजित उनकी श्रद्धांजलि कार्यक्रम में भी मैंने देखा था,उन्हें नमन करने वालों का तांता लगा हुआ था। जिसमें राजनीति और कला संसार से भी रामलाल, पीयूष गोयल, किरेन रिजिजू, डॉ हर्ष वर्धन, प्रतिभा आडवाणी, मनोज तिवारी, हंसराज हंस, राजीव शुक्ला, आदेश गुप्ता और जादूगर शंकर सहित कई बड़ी हस्तियाँ शामिल हुईं।

पुण्य तिथि और जन्मदिन पर हो रहे हैं विभिन्न कार्यक्रम

इधर पिछले दो बरस में राजू (Raju Srivastav) की पुण्य तिथि और जन्म दिन पर मुंबई, लखनऊ और कानपुर जैसे शहरों में विभिन्न कार्यक्रम हो रहे हैं। इस बार भी 21 सितंबर को मुंबई के अंधेरी पश्चिम क्षेत्र में जाने माने हास्य कलाकार सुनील पाल (Sunil Pal) ने अपनी संस्था से ‘कॉमेडी किंग-राजू श्रीवास्तव’ (Raju Srivastav) एक विशेष कार्यक्रम का आयोजन किया। वहीं अवधी विकास संस्थान ने ‘तुमको ना भूल पाएंगे’ नाम से लखनऊ के होटल अवध कोर्ट में भी एक श्रद्धांजलि संध्या रखी।

जब राजू कानपुर से मुंबई आयें तभी से मैं देख रहा हूँ

मैं राजू श्रीवास्तव (Raju Srivastav) को लगभग तभी से देख रहा हूँ जब वह 1982 में कानपुर से मुंबई आए थे। तब से 2022 तक उनसे कई मुलाकातें हुईं। उन पर कितनी बार लिखा, उन्हें इंटरव्यू किया। कुछ बरस पहले एबीपी न्यूज़ के एक कार्यक्रम में भी मैंने उनसे बातचीत की। फोन पर बात तो उनके निधन से कुछ दिन पहले तक हुई। वह हमेशा अच्छे से और सम्मान से मिलते थे।

अमिताभ बच्चन चला रहे हैं घर की रोटी, मज़ाक में कहते थे राजू

अमिताभ बच्चन (Amitabh Bachchan) की ‘दीवार’ (Deewar) और ‘शोले’ (Sholay) देखने के बाद राजू (Raju Srivastav) ने जब अमिताभ (Amitabh Bachchan) की मिमिक्री करना शुरू किया तो लोगों को वह बहुत पसंद आई।

राजू (Raju Srivastav) अक्सर मज़ाक में कहते थे-‘’मेरे घर की रोटी तो अमिताभ बच्चन (Amitabh Bachchan) के कारण ही चल रही है। वह अमिताभ बच्चन (Amitabh Bachchan) को अपना गुरु भी मानते थे। उनके संघर्ष को शुरुआती सफलता तब मिली जब वह कल्याणजी आनंदजी (Kalyanji Anandji) और लक्ष्मीकान्त प्यारेलाल (Laxmikant–Pyarelal) जैसे संगीत समूहों के साथ देश विदेश में स्टेज शो करने लगे।

फिल्में और टीवी शो ने सभी का दुलारा बना दिया

फिर तेजाब, बाजीगर, मैं प्रेम की दीवानी हूँ, बॉम्बे टू गोवा और टॉयलेट एक प्रेम कथा जैसी फिल्में और द ग्रेट इंडियन लाफ़्टर चैलेंज, बिग बॉस और नच बलिए जैसे टीवी शो ने राजू (Raju Srivastav) को सभी का दुलारा बना दिया।

राजू के बच्चें करेंगे पिता का नाम रोशन

अब राजू श्रीवास्तव (Raju Srivastav) नहीं हैं लेकिन उनकी बेटी अंतरा (Antara Srivastav) जहां फिल्म निर्माण निर्देशन में जुट गयी हैं। वहाँ पुत्र आयुष्मान (Ayushman Srivastav) सितार वादन से संगीत की दुनिया में रमे हैं। राजू श्रीवास्तव (Raju Srivastav) की पत्नी शिखा श्रीवास्तव (Shikha Srivastav) बताती हैं-‘’अब तो बस उनकी यादें हैं। लेकिन अंतरा और आयुष्मान भी अपने काम से पिता के नाम को रोशन करेंगे।‘’

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